कनाडा में इंदिरा गांधी की हत्या वाली झांकी पर भड़की कांग्रेस

ऑपरेशन ब्लू स्टार की बरसी से पहले कनाडा में खालिस्तान समर्थकों ने एक परेड निकाली, जिसका वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है.
कनाडा के ब्रैम्पटन शहर में खालिस्तान समर्थकों ने 5 किलोमीटर लंबी परेड निकाली है, जिसकी झांकी में पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की हत्या का सीन दिखाया गया है. कांग्रेस महासचिव जयराम रमेश ने घिनौनी हरकत बताते हुए इस घटना की निंदा की है. इसके साथ ही उन्होंने विदेश मंत्री एस जयशंकर से इस मामले को कनाडा सरकार के समक्ष उठाने की मांग की है.
ऑपरेशन ब्लू स्टार की बरसी (6 जून) से दो दिन पहले 4 जून को निकाली गई इस परेड का वीडियो कांग्रेस नेता मिलिंद देवड़ा ने शेयर किया है. वीडियो में इंदिरा गांधी का पुतला दिखाया गया है. पुतले को खून से सनी साड़ी पहनाकर इंदिरा गांधी की हत्या के सीन को रीक्रिएट करने की कोशिश की गई है. इसके साथ ही इंदिरा गांधी की हत्या करने वाले दो सिख अंगरक्षकों को भी दिखाया गया है. एबीपी न्यूज इस वीडियो की सत्यता की पुष्टि नहीं करता है.
देवड़ा बोले- परेड देखकर हैरान
इस वीडियो के साथ मिलिंद देवड़ा ने लिखा, “एक भारतीय के रूप में, मैं कनाडा के ब्रैम्पटन शहर में हुई 5 किमी लंबी परेड से हैरान हूं, जिसमें इंदिरा गांधी की हत्या को दर्शाया गया है. यह किसी का पक्ष लेने के बारे में नहीं है. यह एक देश के इतिहास के प्रति सम्मान और उसके प्रधानमंत्री की हत्या के कारण हुए दर्द के बारे में है. इस अतिवाद की सार्वभौमिक निंदा और एकजुट होकर प्रतिक्रिया देने की जरूरत है.
जयराम रमेश बोले- घिनौनी हरकत
इस घटना की कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने भी निंदा की है. मिलिंद देवड़ा की पोस्ट को रीट्वीट करते हुए कांग्रेस महासचिव ने लिखा, मैं पूरी तरह सहमत हूं. यह घिनौना है और विदेश मंत्री डॉ. एस. जयशंकर को इस मामले को कनाडा के अधिकारियों के समक्ष उठाना चाहिए.
इंदिरा गांधी की सिख अंगरक्षकों ने की थी हत्या
‘ऑपरेशन ब्लूस्टार’ के कुछ महीने बाद 31 अक्टूबर, 1984 को इंदिरा गांधी की उनके अंगरक्षकों ने हत्या कर दी थी. दोनों ने इसे ऑपरेशन ब्लू स्टार का बदला बताया था. इंदिरा गांधी ने भारतीय सेना को अमृतसर के स्वर्ण मंदिर पर कब्जा किए खालिस्तान समर्थक उग्रवादियों को हटाने का आदेश दिया गया था. ऑपरेशन के तहत भारतीय सेना स्वर्ण मंदिर के अंदर घुसी थी, जिसमें परिसर और अकाल तख्त साहिब को भी नुकसान पहुंचा था. इस घटना को लेकर सिख समुदाय ने बड़े पैमाने पर विरोध प्रदर्शन शुरू किया था.